भारत में महिला सशक्तिकरण का यथार्थ

Authors

  • Akashra Student of M.Ed., Department of Teacher-Training, Chaudhary Charan Singh Degree College Heonra, Etawah Author
  • Prof. Saroj Yadav Professor, Department of Teacher-Training, Chaudhary Charan Singh Degree College Heonra, Etawah Author

Keywords:

महिला सशक्तिकरण, भारत, लैंगिक असमानता, सामाजिक रूढ़िवादिता , सशक्तिकरण

Abstract

              यह शोध भारत में महिला सशक्तिकरण की वर्तमान स्थिति का एक गहन विश्लेषण प्रस्तुत करता है। शोध में सामाजिक, आर्थिक, राजनीतिक और सांस्कृतिक संदर्भों में महिलाओं की स्थिति का मूल्यांकन किया गया है। शोध में शिक्षा, स्वास्थ्य, रोजगार और राजनीतिक प्रतिनिधित्व जैसे महत्वपूर्ण क्षेत्रों में महिलाओं की प्रगति का विश्लेषण किया गया है।

शोध में पाया गया है कि भारत में महिला सशक्तिकरण के लिए कई प्रयास किए गए हैं, लेकिन अभी भी कई चुनौतियाँ मौजूद हैं। सामाजिक-सांस्कृतिक रूढ़िवादिता, लैंगिक असमानता और हिंसा जैसी समस्याएं महिलाओं के सशक्तिकरण में बाधक बन रही हैं। हालांकि, कई महिलाओं ने विभिन्न क्षेत्रों में सफलता प्राप्त की है और कई सकारात्मक बदलाव भी देखने को मिले हैं।

शोध के निष्कर्षों के आधार पर महिला सशक्तिकरण के लिए कुछ महत्वपूर्ण सुझाव दिए गए हैं। इनमें नीतिगत परिवर्तन, सामाजिक जागरूकता अभियान, शिक्षा और कौशल विकास पर ध्यान केंद्रित करना, और महिलाओं के नेतृत्व को बढ़ावा देना शामिल है।

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Published

2024-11-30

How to Cite

भारत में महिला सशक्तिकरण का यथार्थ. (2024). Naveen International Journal of Multidisciplinary Sciences (NIJMS), 1(2), 15-19. https://nijms.com/index.php/nijms/article/view/11